मुंबई में हाल ही में ह्यूमन मेटाप्न्यूमोवायरस (HMPV) का पहला मामला सामने आया है, जिससे भारत में कुल मामलों की संख्या आठ हो गई है। मुंबई की मरीज छह महीने की बच्ची है, जो महाराष्ट्र में इस वायरस से प्रभावित तीसरा मामला है। मुंबई की बच्ची को 1 जनवरी को गंभीर खांसी, सीने में जकड़न और ऑक्सीजन स्तर में कमी की शिकायत के साथ अस्पताल में भर्ती कराया गया था। पांच दिन इलाज के बाद उसे छुट्टी दे दी गई। इससे पहले, महाराष्ट्र के नागपुर में सात और तेरह साल के बच्चों में यह वायरस पाया गया था। इसके अलावा कर्नाटक (2), गुजरात (1) और तमिलनाडु (2) में भी मामले सामने आए हैं।
उत्तराखंड, महाराष्ट्र, कर्नाटक, झारखंड, हिमाचल प्रदेश, ओडिशा और बिहार ने जनता से सतर्क और शांत रहने की अपील की है। मिज़ोरम ने HMPV के प्रसार की निगरानी के लिए एक समिति बनाई है। गुजरात के गांधीनगर, अहमदाबाद और राजकोट के सिविल अस्पतालों में आइसोलेशन वार्ड स्थापित किए गए हैं।
चीन में HMPV मामलों में वृद्धि को देखते हुए केंद्र सरकार ने राज्यों को सांस से जुड़ी बीमारियों जैसे ILI (इन्फ्लुएंजा लाइक इलनेस) और SARI (गंभीर श्वसन संक्रमण) की निगरानी बढ़ाने और लोगों को वायरस के प्रसार को रोकने के उपायों के प्रति जागरूक करने की सलाह दी है। 2001 में खोजा गया HMPV एक व्यापक रूप से अध्ययन किया गया श्वसन रोगजनक है, जो दुनियाभर में बच्चों को प्रभावित करता है।