मुरादाबाद। अलीगढ़-गजरौला पैसेंजर में तीन वर्षीय बच्ची का शव रखकर पिता फरार हो गया। यात्रियों की सूचना पर चंदौसी रेलवे स्टेशन पर आरपीएफ व जीआरपी ने शव को उतारा। घटना मंगलवार सुबह साढ़े सात बजे की है। पुलिस ने डॉक्टरों से जांच कराई तो पता चला कि करीब आठ घंटे पहले ही बच्ची की मौत हो चुकी है। उसके सिर पर चोट के निशान भी हैं। पुलिस ने यात्रियों से पूछताछ की तो पता चला कि कोई यात्री उसे गोद में लेकर जमीन पर बैठा हुआ था।
लोगों के कहने पर भी सीट पर नहीं बैठा। जब वह बच्ची के पास से उठकर चला गया और देर तक नहीं लौटा तब लोगों को शक हुआ। उन्होंने देखा तो बच्ची मरी हुई थी। यात्री घबरा गए और फौरन जीआरपी-आरपीएफ को सूचना दी। आरपीएफ के एसआई मृत्युंजय नाथ पांडे ने शव को ट्रेन से उतारा। उन्होंने बताया कि टॉयलेट के पास शव गमछे से ढका हुआ था। सिर पर चोट के निशान देखकर जीआरपी ने उसे पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
चंदौसी आरपीएफ के इंस्पेक्टर लोकेश कुमार के मुताबिक उनकी टीम ने इस मामले की जांच की। उनका कहना है कि आरपीएफ टीम ने उस बच्ची को एक दंपती के साथ बबराला रेलवे स्टेशन के पास एक मंदिर में देखा था। एक दिन पहले भी बच्ची के सिर पर चोट थी और वह दूध नहीं पी रही थी। मंगलवार सुबह वही व्यक्ति बच्ची को गोद में लेकर बबराला स्टेशन से ट्रेन में चढ़ता दिखा। आरपीएफ ने पूछा तो उसने कहा कि मेरी बच्ची है, इलाज कराने ले जा रहा हूं। अब जीआरपी व आरपीएफ की टीमें उस व्यक्ति की तलाश में जुट गई हैं।
इन सवालों के जवाब तलाश रही पुलिस
- बच्ची के साथ जिस दंपती को एक दिन पहले देखा गया था, क्या सच में वह उसके माता-पिता हैं।
- मरी हुई बच्ची को लेकर वह व्यक्ति ट्रेन में क्यों बैठा
- क्या बच्ची को कहीं से अपहरण कर लाया गया था
- बच्ची के सिर में चोट कैसे लगी
पड़ताल के मुताबिक एक व्यक्ति बच्ची को गोद में लेकर किसी पिछले स्टेशन से ही ट्रेन में चढ़ा था। उसने खुद को बच्ची का पिता बताया। हालांकि चंदौसी स्टेशन पर पुलिस पहुंची तो वह मौके पर नहीं मिला। टीमें उसकी तलाश में जुट गई हैं।
– आशुतोष शुक्ला, एसपी रेलवे