देहरादून। शहर में दुपहिया पर हेलमेट के बिना घूमने वालों के विरुद्ध परिवहन विभाग ने अभियान चलाने की तैयारी कर ली है। हालांकि, शुरुआत में अभियान केवल चालक के लिए चलाने की बात कही जा रही, लेकिन बाद में पीछे बैठी सवारी के लिए भी हेलमेट लगाना अनिवार्य किया जाएगा।
आरटीओ (प्रवर्तन) शैलेश तिवारी ने बताया कि हेलमेट न पहनने वाले दुपहिया चालकों का न सिर्फ चालान काटा जाएगा, बल्कि उनका वाहन कब्जे में लेकर उन्हें बस, विक्रम या आटो से उनके गंतव्य तक भेजा जाएगा। आरटीओ ने बताया कि विभाग का उद्देश्य जनता से सिर्फ जुर्माना वसूलना नहीं, बल्कि उन्हें हेलमेट के प्रति जागरूक करना है।
सड़क सुरक्षा व हादसों पर लगाम लगाने के लिए हाईकोर्ट ने सात जुलाई 2018 को पुलिस व परिवहन विभाग को दुपहिया पर पिछली सवारी के हेलमेट पहनने का नियम सख्ती से लागू करने का आदेश दिया था।
सड़क सुरक्षा के ही तहत चौपहिया में सीट बेल्ट लगाना भी अनिवार्य किया गया मगर जिम्मेदार विभाग इसका अनुपालन ही नहीं करा सके। नए एमवी एक्ट के अंतर्गत केंद्र सरकार ने समस्त राज्यों को तय नियमों का सख्ती से अनुपालन कराने के आदेश जारी किए तो परिवहन विभाग हरकत में आया। हेलमेट नहीं पहनने पर जुर्माना 1000 रुपये है।
सड़क हादसों के बढ़ते आंकड़े को कम करने के लिए परिवहन विभाग ने दुपहिया सवारों के लिए हेलमेट पर रिफ्लेक्टर युक्त लाल रंग की पट्टी अनिवार्य कर दी है। यह पट्टी रात में रोशनी पड़ने पर दूर से चमकने लगेगी। जिससे अंधेरा होने पर भी सामने या पीछे आ रहे वाहन चालक को दुपहिया वाहन की उपस्थिति का पता लग जाएगा। उम्मीद है कि इससे रात में हो रहे दुपहिया के हादसों में लगाम लगेगी।
परिवहन विभाग के आंकड़ों के अनुसार दून में तकरीबन सवा सात लाख दुपहिया पंजीकृत हैं। दुपहिया वाहनों की इतनी बड़ी तादाद को देखते हुए इस आदेश का पालन कराना कठिन जरूर है। आरटीओ तिवारी ने बताया कि पहले जागरूकता अभियानों के जरिए आमजन को सतर्क किया जा रहा है। यही वजह है कि पिछली सवारी के हेलमेट न पहने होने पर चालान के बजाए उन्हें भी बस या विक्रम से घर भेजा जाएगा।
इंडियन हेड इंजरी फाउंडेशन के सर्वे के अनुसार देश में हर रोज सड़क हादसों में 350 से 400 लोग की मौत होती है। इसमें तकरीबन 90 लोग की मौत सिर में गहरी चोट लगने से होती है। इन सड़क हादसों में शिकार लोगों में हेलमेट न पहनने वालों की संख्या सर्वाधिक है। सर्वे के मुताबिक शरीर के किसी अन्य हिस्से की अपेक्षा सिर की चोट ज्यादा घातक होती है।
आरटीओ ने बताया कि दून संभाग में इस वर्ष चालक के हेलमेट न पहनने पर 4872 वाहनों का चालान किया। दून जनपद में ही जनवरी से नवंबर तक हेलमेट न पहने होने पर 24 व्यक्तियों की जान गई व 68 घायल हुए। हेलमेट न पहने होने पर 1000 रुपये के जुर्माने के साथ तीन माह तक ड्राइविंग लाइसेंस निलंबन किया जाएगा।