केंद्र सरकार को भेजे गए प्रस्ताव के तहत राज्य सरकार पहली किस्त जल्द मिलने की उम्मीद कर रही है। सरकार और शासन की ओर से प्रस्ताव के पक्ष में लगातार पैरवी हो रही है। सीएम नई दिल्ली में केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से प्रस्ताव पर चर्चा कर चुके हैं।
– आरके सुधांशु, प्रमुख सचिव लोनिवि
देहरादून। उत्तराखंड सरकार ने सड़कों के सुधारीकरण और सुरक्षात्मक उपायों के लिए केंद्र सरकार से ढाई हजार करोड़ रुपये का पैकेज मांगा है। केंद्रीय सड़क अवसंरचना निधि (सीआरआईएफ) के तहत 3092 किमी से अधिक लंबाई की सड़कों के प्रस्ताव हैं। इस संबंध में शासन की ओर से महानिदेशक (सड़क विकास) एवं अवर सचिव, सड़क परिहन और राजमार्ग मंत्रालय को पत्र लिखा गया है।
मुख्यमंत्री, मंत्रियों, सांसदों और विधायकों की सड़कों और पुलों की घोषणाओं के कई प्रस्ताव लंबित हैं। इन्हें पूरा करने के लिए राज्य सरकार ने केंद्र सरकार से बजट की गुहार लगाई है। बीते दिनों दिल्ली दौरे के दौरान मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से मिलकर प्रस्तावित सड़कों के प्रस्तावाें का मुद्दा उठाया था।
सूत्रों के मुताबिक उत्तराखंड दौरे पर आए केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग राज्यमंत्री जनरल वीके सिंह (सेनि.) से भी शिष्टाचार भेंट के दौरान मुख्यमंत्री ने केंद्र को भेजे प्रस्ताव की पैरवी की और इसे मंजूरी देने का अनुरोध किया। केंद्र को भेजे प्रस्ताव के तहत 3092 किमी लंबाई की 155 सड़कों के लिए 2550.15 करोड़ का प्रस्ताव तैयार कर केंद्र को भेजा गया है। इसमें सर्वाधिक सड़कें पौड़ी जिले के अंतर्गत 106, अल्मोड़ा की 20, टिहरी की 20, नैनीताल की 8 और हरिद्वार की एक सड़क शामिल है।
प्रस्ताव मंजूर होने पर सड़कों के डामरीकरण, सतह सुधार, सुरक्षात्मक कार्य, क्रैश बैरियर लगाने जैसे कार्य किए जाएंगे। अपर सचिव लोनिवि विनीत कुमार ने बताया कि प्रस्ताव तैयार कर सड़क परिहन एवं राजमार्ग मंत्रालय को भेज दिया गया है। पैसा स्वीकृत होते ही सड़कों के डामरीकरण और सुधारीकरण का काम शुरू कर दिया जाएगा। राज्य सरकार की ओर से लगातार केंद्र से प्रस्ताव पर बातचीत की जा रही है, उम्मीद की जा रही है कि पहली किस्त शीघ्र जारी हो सकती है।
केंद्र को भेजे गए प्रस्ताव में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की घोषणाओं वाली तीन सड़कें शामिल हैं। इसके अलावा गढ़वाल सांसद तीरथ सिंह रावत की सर्वाधिक 34 सड़कें, नैनीताल सांसद अजय भट्ट की पांच, अल्मोड़ा सांसद अजय टम्टा की 11, टिहरी सांसद राज्यलक्ष्मी शाह की एक और हरिद्वार सांसद रमेश पोखरियाल निशंक की एक सड़क शामिल है। जबकि राज्यसभा सांसद नरेश बसंल की एक सड़क का प्रस्ताव है। वहीं, सरकार के मंत्रियों में सतपाल महाराज की 28, धन सिंह रावत की 13 सड़कें शामिल हैं। इसके अलावा लैंसडौन, धनोल्टी, रुद्रपुर, कपकोट, गंगोत्री, पौड़ी, टिहरी, रुद्रप्रयाग, यमकेश्वर, गंगोत्री, केदारनाथ, प्रतापनगर, देवप्रयाग, थराली, विकासनगर, सहसपुर के विधायकों के प्रस्ताव भी इसमें शामिल हैं।