लेह-लद्दाख अपनी प्राकृतिक सुंदरता और खूबसूरती के लिए देश ही नहीं दुनियाभर में प्रसिद्ध है। लद्दाख को भारत का मुकुट कहा जाता है। लद्दाख में बहुत से पर्यटक स्थल हैं। आज हम आपको लद्दाख में स्थित नुब्रा घाटी के बारे में बताने जा रहे हैं। नुब्रा घाटी लद्दाख की ऊंची और खूबसूरत पहाड़ियों के बीच बसी है। देश ही नहीं दुनियाभर से लोग इस घाटी में घूमने आते हैं। आइए जानते हैं नुब्रा घाटी के बारे में-
लद्दाख के बाग के नाम से मशहूर है नुब्रा घाटी
नुब्रा घाटी लेह से 150 किमी की दूरी पर बसी एक आकर्षक और खूबसूरत घाटी है। नुब्रा का मतलब होता है – फूलों की घाटी। यह घाटी गुलाबी और पीले जंगली गुलाबों से सजी है। इसकी सुंदरता की वजह से नुब्रा घाटी को ‘लद्दाख के बाग’ के नाम से भी जाना जाता है। इस घाटी का इतिहास सातवीं शताब्दी ई। पूर्व पुराना है। इतिहासकारों के मुताबिक इस घाटी में चीनी और मंगोलिया ने आक्रमण किया था। नुब्रा घाटी श्योक और नुब्रा नामक दो नदियों के बीच में बसी है। यहां आकर आप एक अलग तरह की संस्कृति का अनुभव करेंगे। इस घाटी की रेत और आकर्षक पहाड़ियां यहाँ आने वाले पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करती हैं। सर्दियों में नुब्रा घाटी का मौसम काफी ठंडा रहता है इसलिए सर्दियों में यहाँ जाना थोड़ा मुश्किल होता है। यहाँ जाने के लिए सबसे सही समय मई से सितंबर तक रहता है।
नुब्रा घाटी का सफर
अगर आप नुब्रा घाटी जाना चाहते हैं तो आपको सड़क मार्ग से होकर जाना होगा। नुब्रा घाटी पहुंचने के लिए सबसे पहले आपको राष्ट्रीय मार्ग से खर्दुंग ला तक का सफर करना होगा, यह दुनिया का सबसे ऊँचा दर्रा है।। उसके बाद खर्दुंग गांव से होते हुए श्योक घाटी तक पहुँच सकते हैं। श्योक घाटी में बने घर और चारगाह पर्यटकों को खूब आकर्षित करते हैं। नुब्रा घाटी जाने से पहले यात्रियों को दो दिन के लिए लेह में रुकने की सलाह दी जाती है। एक बार जब यात्री यहां के वातावरण में ढल जाते हैं, तब नुब्रा घाटी के लिए आगे की यात्रा शुरू कर सकते हैं। नुब्रा घाटी तक की यात्रा में आपको ऐसी खूबसूरत सड़के मिलेंगी जो आपका दिल जीत लेंगी। नुब्रा घाटी के करीब पहुंचने पर रेत के टीलों के साथ सुनसान सड़क यहाँ आने वाले पर्यटकों का स्वागत करती हैं।
नुब्रा घाटी का व्यापारिक केंद्र ‘डिस्किट’
डिस्किट को नुब्रा घाटी का व्यापारिक केंद्र कहा जाता है। यह गाँव बहुत ही सुंदर है। अगर आपको शांत वातावरण पसंद हैं तो आप डिस्किट से दस किलोमीटर दूर पश्चिम में हंडर की यात्रा कर सकते हैं। यहाँ के मैदानी इलाकों में आपको शांति और सुकून का अनुभव होगा। यहां आपको दो कूबड़ वाले ऊंट देखने को मिल सकते हैं। डिस्किट और हंडर में रुकने के लिए बहुत सारे होटल, होम स्टे, रिसॉर्ट और टेंट उपलब्ध हैं।
नुब्रा घाटी कैसे पहुंचे
जहाँ पहले परिवाहन की सुविधा ना होने के कारण लेह-लद्दाख जाना कठिन था, वहीं अब कुशोक बकुला रिम्पोछे एयरपोर्ट की वजह से दुनिया के किसी भी हिस्से से लेह जाना बेहद आसान हो गया है। आप दिल्ली से लेह के लिए फ्लाइट ले सकते हैं। इसके बाद आप मनाली और स्पीती के रास्ते निजी वाहन या बस से नुब्रा घाटी पहुँच सकते हैं।