
देहरादून | धराली आपदा से जुड़े राहत, बचाव और पुनर्वास कार्यों की समीक्षा के लिए उत्तराखंड के राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (सेनि) ने गुरुवार को आईटी पार्क स्थित राज्य आपातकालीन परिचालन केंद्र का दौरा किया। उन्होंने ग्राउंड जीरो पर कार्यरत सभी बलों, अधिकारियों और कर्मचारियों की सराहना करते हुए कहा कि यह सामूहिक उत्तरदायित्व और टीम भावना का उत्कृष्ट उदाहरण है।
राज्यपाल ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस संकट में आगे आकर जिस तरह स्थिति का नेतृत्व किया, वह आपदा के समय आदर्श नेतृत्व की मिसाल है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का आभार जताया कि उन्होंने राज्य को हरसंभव सहायता प्रदान की।
24 घंटे अलर्ट रहने के निर्देश
राज्यपाल ने चेतावनी दी कि मानसून अभी जारी है और आगे भी कई प्रकार की चुनौतियां आ सकती हैं, इसलिए सभी संबंधित एजेंसियां 24 घंटे अलर्ट मोड में रहें। उन्होंने आपदा के दौरान हुए राहत और बचाव कार्यों का डॉक्यूमेंटेशन व विश्लेषण करने के निर्देश दिए, ताकि भविष्य में ऐसी परिस्थितियों के लिए ठोस रोडमैप तैयार किया जा सके।
हर्षिल झील और धराली-मुखबा पुल पर नजर
राज्यपाल ने आईआईटी रुड़की के वैज्ञानिकों और विशेषज्ञ टीमों से वर्चुअल संवाद कर हर्षिल में बनी झील से जल निकासी, धराली-मुखबा पुल की स्थिति और उसकी सुरक्षा समेत अन्य अभियानों की प्रगति की जानकारी ली। टीम ने बताया कि सर्वे कार्य जारी है और रिपोर्ट जल्द ही शासन को सौंपी जाएगी।
क्षति और कार्रवाई की रिपोर्ट
सचिव आपदा प्रबंधन एवं पुनर्वास विनोद कुमार सुमन ने राज्यपाल को आपदा की पृष्ठभूमि, क्षति के आकलन और अब तक की गई कार्रवाई की विस्तृत जानकारी दी। समीक्षा बैठक में उपाध्यक्ष राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण विनय रोहिला, अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रशासन आनंद स्वरूप और क्रियान्वयन डीआईजी राजकुमार नेगी भी मौजूद रहे।