
कर्णप्रयाग (चमोली) | उत्तराखंड पंचायत चुनाव 2025 में युवाओं की भागीदारी और जीत ने इस बार सभी का ध्यान खींचा है। इस सिलसिले में सबसे प्रेरणादायक कहानी चमोली जिले के गैरसैंण ब्लॉक के मुख्यमंत्री आदर्श गांव सारकोट की है, जहां महज 21 वर्ष की प्रियंका नेगी ने ग्राम प्रधान पद का चुनाव जीतकर नया इतिहास रच दिया है। जीत के बाद मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्वयं उन्हें फोन कर बधाई दी और कहा कि वे मिलकर गांव के विकास के लिए कार्य करेंगे।
मुख्यमंत्री का फोन, मिला सम्मान और प्रेरणा
ग्राम प्रधान बनने के बाद प्रियंका नेगी को मुख्यमंत्री धामी का व्यक्तिगत फोन आना न सिर्फ उनके लिए सम्मान की बात रही, बल्कि यह प्रदेश में युवाओं और खासकर महिला नेतृत्व को प्रोत्साहित करने का एक बड़ा संकेत भी है। मुख्यमंत्री ने कहा कि सारकोट को मॉडल गांव के रूप में विकसित किया जाएगा और जिला प्रशासन के अधिकारी जल्द ही गांव का दौरा करेंगे। उन्होंने प्रियंका को देहरादून आने का निमंत्रण भी दिया, ताकि राज्य स्तर पर चल रही विकास योजनाओं को वह बेहतर तरीके से समझ सकें और उन्हें अपने गांव में लागू कर सकें।
राजनीति विज्ञान स्नातक और ग्राम सेवा का संकल्प
प्रियंका ने हाल ही में गैरसैंण महाविद्यालय से राजनीतिशास्त्र विषय में स्नातक किया है। संयोग से उनका परीक्षा परिणाम मात्र तीन दिन पहले ही आया था, और अब वे ग्राम पंचायत की सबसे महत्वपूर्ण जिम्मेदारी निभाने को तैयार हैं। यह उल्लेखनीय है कि उनके पिता राजे सिंह नेगी भी 2014 से 2019 तक ग्राम प्रधान रह चुके हैं। यानी ग्राम सेवा का यह भाव उनके परिवार में पहले से मौजूद है।
चुनावी जीत और जनता का समर्थन
प्रियंका नेगी ने ग्राम प्रधान पद के चुनाव में अपनी प्रतिद्वंद्वी प्रियंका देवी को हराया। प्रियंका नेगी को 421 वोट मिले जबकि प्रियंका देवी को 235 वोट प्राप्त हुए। इस जीत ने प्रियंका को न सिर्फ पंचायत की कमान सौंपी, बल्कि उन्हें क्षेत्र की सबसे युवा मुखिया भी बना दिया।
आदर्श गांव सारकोट की नई दिशा
सारकोट गांव चमोली जिले के सबसे बड़े गांवों में से एक है, जहां 300 से अधिक परिवार निवास करते हैं। यह गांव पलायन की समस्या से अछूता रहा है, और इसी कारण मुख्यमंत्री धामी ने इसे मुख्यमंत्री आदर्श गांव के रूप में चुना था। अब जब गांव की कमान इतनी युवा और शिक्षित प्रतिनिधि के हाथ में आई है, तो विकास को नई दिशा मिलने की उम्मीद की जा रही है।
महिलाओं को सशक्त बनाना प्राथमिकता
प्रियंका ने अपनी प्राथमिकताओं में गांव की महिलाओं को आत्मनिर्भर और जागरूक बनाना सबसे ऊपर बताया है। उन्होंने कहा कि स्वरोजगार के माध्यम से महिलाओं को सशक्त किया जाएगा और उन्हें हर क्षेत्र में आगे बढ़ने के लिए प्रेरित किया जाएगा। उनके पिता राजे सिंह नेगी ने कहा कि वह अपनी बेटी को हर संभव सहायता देंगे ताकि गांव के विकास का सपना साकार हो सके।